टर्टल की रुझान आधारित प्रणाली द्वारा माल और स्टॉक का व्यापार करना सीखिए

टर्टल ट्रेड भूमिका

हमने आपकी अपनी भाषा में हमारे वेबस्थल के बारे में 1 पृष्ठ की प्रस्तावना तैयार की है ताकि आप वैश्विक नज़रिए से टर्टल ट्रेडिंग प्रणाली के महत्व को समझ सकें। टर्टल ट्रेडिंग की रुझान आधारित प्रणाली सभी देशों के सभी व्यापारियों या निवेशकों के लिए है। टर्टल ट्रेडर के ग्राहक 70देशों में है। हम टर्टल ट्रेड पाठ्यक्रम 1996 से पढ़ा रहे हैं।

अभी हमारा वेबस्थल, हमारे पाठ्यक्रम व हमारी सहायता सेवा सिर्फ अंग्रेज़ी में हैफिर भी, हम अंतराष्टीय समुदाय तक पहुँचने में दृढ़ विश्वास रखते हैं और 1 पृष्ठ की इस प्रस्तावना से बाज़ार की तेजी एवं मंदी की दोनों स्थितियों में पैसा कमाने के लिए टर्टल ट्रेडिंग प्रणाली द्वारा प्रदत्त लाभों को समझने में आपको बेहतर मदद मिलेगी।

हमारे ग्राहकों में शामिल हैं नियमित निजी व्यापारी, बाजार निर्माता, विशेषज्ञ, दलाल, एक्सचेंज के सदस्य और वैश्विक व्यापारी समुदाय के अन्य कई लोग। हम कम अनुभवी या नए व्यापारियों को पेशेवरों द्वारा दिए गए पाठ सिखाने में भी मदद करते हैं।

यदि आपके कोई प्रश्न हों तो कृपया हमें ई-मेल भेजें: email.

“मैं कुछ ऐसे करोड़पतियों को जानता हूँ जिन्होंने विरासत में प्राप्त संपत्ति से व्यापार शुरू किया। हर मामले में, उन्होंने नुकसान उठाया क्योंकि नुकसान होने पर उन्होंने उसकी पीड़ा महसूस नहीं की। व्यापार के उन प्रारंभिक वर्षों में उन्हें लगा कि वे नुकसान सहन कर सकते हैं। आप बहुत अच्छी स्थिति में हैं कि आप बाजार में पहला कदम रखते हुए, यह महसूस करेंगे कि आप नुकसान सहन नहीं कर सकते। मैं उन लोगों के पक्ष में शर्त लगा सकता हूँ जो कुछ हजार डॉलर से व्यापार शुरू करते हैं बजाय उनके जो लाखों डॉलर लेकर बाजार में उतरते हैं…. यह ऐसे कुछ उद्योगों में से है जहाँ आप कंगाल से धनवान बनने की कहानी रच सकते हैं। रिचर्ड डेनिस ने कुछ सौ डॉलरों से काम शुरू किया और दो दशकों से भी कम समय में करोड़ों डॉलर बनाए – यह बड़ी प्रेरणा भरा है।”
विलियम इकहार्ड

रुझान आधारित प्रणाली का परिचय

रुझान के संग चलने की प्रणाली किसी व्यापार के बाजार में कीमतों के उतार चढ़ाव के विश्लेषण पर निर्भर है। यह मूल मांग व पूर्ति या आर्थिक घटकों के विश्लेषणों की चिंता नहीं करती। रुझान आधारित प्रणाली का मूलतः विकास ब्लाईंड टेस्टिंग विधि के आधार पर हुआ। अर्थात् पहले इसे कुछ बाजारों में व्यापार के लिए निर्मित किया गया था। जब कुछ बाजारों में इसकी सफलता सिद्ध हो गई तो इसे अन्य अधिकांश बाजारों में लागू किया गया। समय के साथ-साथ यह लगातार सफलता पाते हुए बदलते बाजार में मजबूत रही।

रुझान आधारित प्रणाली बाजार या कीमत के स्तरों की कोई भविष्यवाणी नहीं करती। स्वभावतः यह प्रतिक्रियावादी एवं नियमबद्ध है एवं नियमों का अनुपालन करने की लगातार अपेक्षा रखती है। इसमें हानि प्रबंधन की एक पद्धति है जो वर्तमान बाजार मूल्य, खाते में पूँजी का स्तर व बाजार की वर्तमान उथल-पुथल का उपयोग करती है। जोखिम क्षमता के प्रारंभिक मूल्यांकन द्वारा प्रवेश के समय निवेश का आकार तय किया जाता है। मूल्यों में बदलाव के कारण आरंभिक आकार में क्रमशः कमी या बढौत्री हो सकती है। मूल्यों की गति विपरीत होने पर निवेश का पूरे आकार का निपटान किया जा सकता है। ऐतिहासिक रूप से, रुझान आधारित प्रणाली के व्यापारी को एक सौदे में होने वाला औसत फायदा, एक सौदे में होने वाली औसत हानि के मुकाबले स्पष्टतः ज्यादा है।

टर्टल

“क्या सफल ट्रेडर (व्यापारी) का कौशल सीखा जा सकता है? या वे जन्मजात, छठी इन्द्रिय वाले कुछ भाग्यशाली होते हैं? शिकागो के सुप्रसिद्ध ट्रेडर रिचर्ड डेनिस को इसमें कोई संदेह नहीं है जिन्होंने 18 वर्षों में $400 की छोटी सी पूँजी को $200 मिलियन में बदल दिया। देश भर से चुने गए भावी ट्रेडर के एक समूह के साथ प्रयोग करते हुए, उन्होंने विश्वास दिया कि ट्रेडिंग करना सीखा जा सकता है। पिछले 11/2 वर्षों में जिन 14 ट्रेडरों के समूह को उन्होंने पढ़ाया, उसने वार्षिक चक्रवृद्धि की औसत दर पर 80% प्रति लाभ कमाया। जबकि सालाना आधार पर, 70% गैर पेशेवर ट्रेडरों ने पैसा खोया। वे कहते हैं “मैंने जो सोचा था उससे अधिक ट्रेडिंग करना सिखाया जा सकता है।” “एक अजनबी रूप में यह नम्रता से गरूर तोड़ने जैसा है।” श्री डेनिस कहते हैं कि कई वर्षों तक उन्होंने अपने कुछ सहकर्मियों से शिक्षण के विरुद्ध जन्मजात योग्यता के प्रश्न पर बहस की है। उन लोगों का तर्क है कि डेनिस का कौशल “अकथनीय, जादुई, आत्मगत या अंतर्ज्ञान” जैसा है पर वे कहते हैं उनका उत्तर बहुत सरल है। 40 वर्षीय डेनिस अपनी सफलता का राज उनके द्वारा विकसित कई ट्रेडिंग पद्धतियों को देते हैं, और ज्यादा जरूरी है, इन पद्धतियों के अनुशासन का पालन करना। अपनी बात सिद्ध करने के लिए उन्होंने एक जीवंत अनुभव बताया। 1983 के अंत एवं पुनः 1984 के आरंभ में उन्होंने वॉल स्ट्रीट जर्नल, बैरॉन्स व न्यूयार्क टाइम्स में ट्रेडर प्रशिक्षण पाने के इच्छुक लोगों हेतु विज्ञापन दिए। इस काम के लिए उन लोगों को शिकागो में रहने आना था तथा श्री डेनिस द्वारा दी गई शिक्षा के दौरान हुए लाभ का कुछ प्रतिशत एवं थोड़ा वेतन उन्हें मिलता।”
वॉल स्ट्रीट जर्नल का लेख

विविध बाजारों के इतिहास में संभवतः इस ट्रेडिंग सेमिनार की सर्वाधिक चर्चा की गई है। 1984 में रिचर्ड डेनिस ने दो सप्ताह के एक सेमिनार में अपनी ट्रेडिंग पद्धतियाँ छात्रों (नए गैर ट्रेडर) के एक समूह को सिखाई। एक साल बाद उन्होंने इस पद्धति को दोहराया। टर्टल [Turtle] सत्र आयोजित करने के पीछे डेनिस की प्रेरणा थी अपने मित्र एवं कारोबार में भागीदार विलियम इकहार्ड से हुई इस बहस का उत्तर देना कि क्या ट्रेडिंग करने का कौशल सिखाया जा सकता है। डेनिस की सशक्त मान्यता थी कि ट्रेडिंग योग्यताओं को कुछ नियमों के रूप में बदल कर अन्य लोगों को सिखाया जा सकता है। इकहार्ड की मान्यता थी कि ट्रेडिंग योग्यताएं जन्मजात सहज ज्ञान है जिसे सिखाया नहीं जा सकता।

रिचर्ड डेनिस जीत गए अपने साथी बिल इकहार्ड से सिंगापूर में एक कछुआ केन्द्र भ्रमण करते हुए उन्होंने अपनी संकल्पना का नामकरण किया, जिस तरह यह केन्द्र कछुए विकसित करता है उन्होंने ट्रेडर विकसित करने के बारे में सोचा, इसलिए नामकरण हुआ टर्टल्स (इस स्क्रीन के अंत में दिए गए मेनू में टर्टल्स की पूरी सूची दी गई है)। समय के साथ-साथ आज एक सशक्त प्रणाली व छोटे से इतिहास ने, टर्टल्स को अपने ग्राहकों के लिए महत्वपूर्ण सौदे करने योग्य बना दिया है। टर्टल तकनीकों के उपयोग से वार्षिक परिणाम 50% से अधिक एवं कभी-कभी 100% से अधिक मिले हैं। कुछ टर्टल्स ने तो एक ही महीने में 100% प्रतिलाभ का आँकड़ा पार कर दिया। अधिक जानकारी के लिए देखें कार्यनिष्पादन.

टर्टल चयन

टर्टल्स के चयन में किस तरह के प्रारंभिक प्रश्न पूछे गए? टर्टल्स को इन प्रश्नों का उत्तर एक-एक वाक्य में देने को कहा गया :

  • अपनी पसंद की किसी किताब या फिल्म का नाम बताएं और इसे क्यों पसंद करते हैं?
  • अपनी पसंद के किसी ऐतिहासिक व्यक्ति का नाम बताएं और उसे क्यों पसंद करते हैं?
  • इस काम में आप सफलता पाना क्यों चाहते हैं?
  • आपने जो जोखिम भरी चीज़ की हो उसके बारे में बताएं व ऐसा क्यों किया?
  • दबाव में लिए गए किसी निर्णय के बारे में बताएं और आपने ऐसा निर्णय क्यों लिया?
  • आशा, डर और लालच एक अच्छे ट्रेडर के शत्रु माने गए हैं। अपने किसी ऐसे निर्णय के बारे में बताएं जो आपने इनमें से किसी के प्रभाव में लिया हो तथा उस निर्णय के बारे में आप अब क्या सोचते हैं।
  • आपमें कौनसे अच्छे गुण हैं जो आपकी ट्रेडिंग में मदद कर सकते हैं?
  • आपमें कौनसे ऐसे दोष हैं जो आपको ट्रेडिंग में नुकसान पहुँचा सकते हैं?
  • ट्रेडिंग में आप अच्छे बनना चाहते हैं या भाग्यशाली? क्यों?

इन सरल लगने वाले प्रश्नों को सरल नहीं समझें। सही-गलत उत्तर वाले प्रश्नों का भी इस चयन प्रक्रिया में उपयोग किया जाएगा।

टर्टल्स ट्रेडिंग प्रणाली

टर्टल्स को जो पहली बात सिखाई जाती है वह है “मूल्य”, यही एक ट्रेडर की मुख्य चिंता होनी चाहिए। यदि बाजार 60 पर है और 58, 57, 53 पर जा रहा है तो बाजार का रुझान भाव गिरने की तरफ है। आपके ट्रेड स्टेशन पर बहुत से तकनीकी संकेतक हो सकते हैं जो “भविष्यवाणी” करें कि मूल्य आगे कहाँ तक बढ़ेगा या किस तरह चलेगा, पर ये संकेतक बेकार हैं। यदि रुझान गिराव का है तो रुझान के संग चलें। एक ट्रेडर को सिर्फ इस बात की चिन्ता होनी चाहिए कि वास्तव में बाजार कैसा चल रहा है, बजाय इसके कि बाजार कैसा चलेगा इस बारे में अपने विचार के।

मूल्य में बदलाव या रुझान की अधिकांश स्थितियों को पकड़ पाना लक्ष्य होना चाहिए। टर्टल की तकनीकें उच्चतम या न्यूनतम को पकड़ने की कोशिश नहीं करती। यदि बाजार गिर रहा हो तो आप बेचेंगे। यदि बाजार उठ रहा हो तो आप खरीदेंगे। बाजार बहुत ऊँचा हो तो आप खरीद नहीं सकते और बाजार एकदम गिरा हो तो आप बेच नहीं सकते। वस्तुतः टर्टल ट्रेडिंग की बहुत महत्वपूर्ण बात सौदा करने का समय या संकेतक नहीं है, पर यह तय करना है कि किसी रुझान के दौरान कितने सौदे करना है। इस प्रमुख घटक को कहते हैं धन प्रबंधन.

टर्टल ट्रेडिंग पद्धति एक गणितीय यांत्रिग ढंग से बनाई गई है। यह प्रणाली पूर्ति या मांग के मूल घटकों के विश्लेषण पर आधारित नहीं है। मूल्य और समय ही हर वक्त केन्द्र में होना चाहिए। यह प्रणाली लगभग 100% सुनियोजित है। टर्टल ट्रेडिंग में कोई मौसम, बिंदु या आँकड़ा, बाजार का परिदृश्य, उतार चढ़ाव के कटान या दिवसीय कारोबार (डे-ट्रेडिंग) शामिल नहीं है।

टर्टल ट्रेडिंग के मूल में एक प्रणाली है जोखिम नियंत्रण व धन प्रबंधन। इसका गणित एकदम सरल है व आसानी से सीखा जा सकता है। बाजार में ज्यादा उथल-पुथल के समय, ट्रेडिंग का आकार कम हो जाता है। नुकसान की दशा में निवेश का आकार घटा दिया जाता है और सौदों का आकार छोटा हो जाता है। मुख्य ध्येय हमेशा यह है कि पूँजी को तब तक सुरक्षित रखा जाए जब तक कि अनुकूल भाव वाला रुझान पुनः दिखने लगे। यह प्रणाली पता लगाती है कि :

  • बाजार में कब और कैसे भाग लेना।
  • किसी एक समय में कितने अनुबंधों/शेयर का सौदा करना।
  • हर सौदे में धन की जोखिम कितनी रखना।
  • यदि सौदे में लाभ नहीं हो तो कैसे बेचना।
  • यदि सौदे में लाभ हो तो कैसे बेचना।
  • पाठ्यक्रम की संपूर्ण विषयवस्तु
  • सभी देशों के सभी ट्रेडरों के लिए। किसी भी बाजार में व्यापार करें। सभी एक्सचेंजों पर।
  • पृष्ठांकन

टर्टल प्रणाली जापानी रेड बीन्स का सौदा उतनी ही सरलता से करेगी जैसे आस्ट्रेलिया की आल आर्डिनरी स्टॉक इंडेक्स द्वारा आईबीएम और सिस्को आपको यह जानने की जरूरत नहीं है कि इटालियन बांड की कीमत क्या है या एफटीएसई इंडेक्स में कौन-कौन सी कंपनियाँ शामिल हैं या भले ही लिंक्डइन में एक अच्छा व्यापारिक मॉडल निहित है। मुख्य बात है चार्ट पर बताया गया भाव।

सारांश

टर्टल प्रणाली सभी देशों के सभी ट्रेडरों के लिए है। 1996 से टर्टल ट्रेडर के 58 देशों में ग्राहक हैं। हम दुनिया भर में काम करते हैं ताकि टर्टल प्रणाली द्वारा आपको व्यापार करना सिखाने में मदद कर सकें।

बाजार में तेजी या मंदी के अचानक प्रमुख दौर आने की स्थिति में उनकी पूरी क्षमता में लाभ को किस तरह अधिकतम बनाया जाए, ऐसा व्यापार करने हेतु टर्टल ट्रेडिंग प्रणाली द्वारा शिक्षण दिया जाता है। टर्टल की लम्बी अवधि की रुझान आधारित रणनीति अपनाते हुए आपको अनुशासित रहना होगा और ऊपर बताए गए औसत लाभ कमाने में सफल होने के लिए आपको अपनी भावनाओं पर नियंत्रण करना होगा। चाहे आप किसी बड़ी संस्था में एक ट्रेडर हों या कोई निजी निवेशक या आपके निजी खाते के लिए ट्रेडर, टर्टल ट्रेडर आपको वही सफल सिद्ध हुए तरीके प्रदान करेगा जो मौलिक टर्टलों को सिखाए गए थे।

टर्टल ट्रेडर पाठ्यक्रम का आर्डर देने के लिए : यहाँ क्लिक करें.

इस समय हमारा वेब स्थल, हमारे पाठ्यक्रम एवं हमारी सहायता सेवाएं सिर्फ अंग्रेजी भाषा में हैं.


Review trend following systems and training.